महाराष्ट्र में किसानों के लिए शुरू की गई 'एक रुपए में फसल बीमा योजना' अब संकट से गुजर रही है। इस योजना को किसानों के हित में एक क्रांतिकारी कदम माना गया था, लेकिन अब इसमें कई बाधाएं आ रही हैं। इस संदर्भ में उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने पुणे में बड़ा बयान दिया है और आश्वासन दिया है कि सरकार किसानों के हित में कोई भी आवश्यक कदम उठाएगी।
अजित पवार ने क्या कहा?
अजित पवार ने कहा, "'एक रुपए में फसल बीमा योजना' छोटे और मध्यम किसानों को प्राकृतिक आपदाओं से राहत दिलाने के बड़े उद्देश्य से शुरू की गई थी। लेकिन अब यह योजना कई तकनीकी और व्यावहारिक बाधाओं का सामना कर रही है।" उन्होंने यह भी बताया कि ग्रामीण क्षेत्रों में कुछ लोगों ने इस योजना का गलत फायदा उठाया है। पवार के मुताबिक, "कई जगहों पर लोगों ने दिखावे के लिए फॉर्म भरे और फसल बीमा के नाम पर ठगी की। लेकिन अब ऐसा नहीं चलेगा।"
किसानों के हितों से कोई समझौता नहीं
सरकार इस योजना की समीक्षा कर रही है और जल्द ही नए दिशानिर्देश लागू किए जा सकते हैं। अजित पवार ने स्पष्ट किया कि किसानों के हितों के साथ कोई समझौता नहीं किया जाएगा और सरकार का अगला कदम भी किसानों के कल्याण को ध्यान में रखकर ही उठाया जाएगा।
किसानों को बहुत कम प्रीमियम पर बीमा सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से 'एक रुपए में फसल बीमा योजना' शुरू की गई थी। इसका उद्देश्य सूखा, बाढ़, कीट संक्रमण और अन्य प्राकृतिक आपदाओं से होने वाले नुकसान की भरपाई करना था। अब सरकार के सामने सबसे बड़ी चुनौती यह है कि इस योजना को पारदर्शी और प्रभावी तरीके से कैसे पुनर्जीवित किया जाए, ताकि वास्तविक जरूरतमंद किसानों को इसका लाभ मिल सके।
You may also like
अनिरुद्धाचार्य महाराज के परिवार में रहते हैं इतने लोग, बीवी की सच्चाई जानकर उड़ जाएंगे होश ι
जब एक पहलवान ने बागेश्वर धाम सरकार का बॉडीगार्ड बनने की जताई इच्छा, गुरुदेव ने खोली पोल- Video ι
पिता की मृत्यु के बाद पुत्र को क्या क्या करना चाहिए? गरुड पुराण में बताए गए हैं सारे हिंदू रीति रिवाज। ι
आचार्य चाणक्य अनुसार स्त्रियों की यह 5 आदतें, बनती हैं मुसीबतों का कारण ι
दैनिक राशिफल : 06 राशियों के लोगों के लिए आज का दिन बहुत ही शुभ रहने वाला है