नई दिल्ली: अनिल अंबानी को फिर से मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। सोमवार को अनिल अंबानी की रिलायंस ग्रुप की कंपनियों के शेयरों में 5 फीसदी तक का लोअर सर्किट लगा। शेयरों में गिरावट इसलिए आई क्योंकि प्रवर्तन निदेशालय (ED) बैंक अधिकारियों से पूछताछ करने वाला है। यह पूछताछ 17,000 करोड़ रुपये के लोन फ्रॉड मामले से जुड़ी है, जिसमें रिलायंस ग्रुप का नाम है।
रिलायंस पावर के शेयर सोमवार को 5% गिरकर 47.70 रुपये पर बंद हुए। वहीं रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर के शेयर भी 5% की गिरावट के साथ 296.05 रुपये पर बंद हुए। वहीं अनिल अंबानी की एक और प्रमुख कंपनी रिलायंस होम फाइनेंस के शेयर में भी करीब लोअर सर्किट लगा। यह शेयर 4.86% गिरकर 4.89 रुपये पर बंद हुआ।
क्या है पूरा मामला?यह पूरा मामला 17,000 करोड़ रुपये के लोन से जुड़ा है। रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड, रिलायंस कमर्शियल फाइनेंस लिमिटेड और रिलायंस कम्युनिकेशंस को दिए गए करीब 17,000 करोड़ के लोन NPA (Non-Performing Assets) बन गए हैं। यानी ये लोन अब डूब चुके हैं और लगभग 20 बैंकों का पैसा इसमें फंसा हुआ है।
इस मामले में ईडी का शिकंजा कस गया है। ईडी अब सरकारी और प्राइवेट दोनों बैंकों के अधिकारियों को बुलाएगी। इन बैंकों ने रिलायंस ग्रुप की अलग-अलग कंपनियों को लोन दिया था। ईडी पहले ही अनिल अंबानी को बुला चुकी है। अब वह यह जानना चाहती है कि जब ग्रुप की कंपनियों ने लोन चुकाना बंद कर दिया, तो बैंकों ने क्या कार्रवाई की।
कई अधिकारियों को भेजा समनईडी ने रिलायंस ग्रुप के कई बड़े अधिकारियों को समन भेजा है। यह समन मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच के सिलसिले में भेजा गया है। ईडी ने अमिताभ झुंझुनवाला और सतीश सेठ जैसे कई सीनियर अधिकारियों को बुलाया है। खबर है कि ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत कम से कम छह समन जारी किए हैं। इन सभी अधिकारियों के घरों पर पहले भी ईडी ने छापेमारी की थी। ईडी को शक है कि इन लोगों ने बैंकों से धोखाधड़ी करने में अहम भूमिका निभाई है। आरोप है कि इन्होंने मिलकर बैंकों के एक समूह को धोखा दिया है।
रिलायंस पावर के शेयर सोमवार को 5% गिरकर 47.70 रुपये पर बंद हुए। वहीं रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर के शेयर भी 5% की गिरावट के साथ 296.05 रुपये पर बंद हुए। वहीं अनिल अंबानी की एक और प्रमुख कंपनी रिलायंस होम फाइनेंस के शेयर में भी करीब लोअर सर्किट लगा। यह शेयर 4.86% गिरकर 4.89 रुपये पर बंद हुआ।
क्या है पूरा मामला?यह पूरा मामला 17,000 करोड़ रुपये के लोन से जुड़ा है। रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड, रिलायंस कमर्शियल फाइनेंस लिमिटेड और रिलायंस कम्युनिकेशंस को दिए गए करीब 17,000 करोड़ के लोन NPA (Non-Performing Assets) बन गए हैं। यानी ये लोन अब डूब चुके हैं और लगभग 20 बैंकों का पैसा इसमें फंसा हुआ है।
इस मामले में ईडी का शिकंजा कस गया है। ईडी अब सरकारी और प्राइवेट दोनों बैंकों के अधिकारियों को बुलाएगी। इन बैंकों ने रिलायंस ग्रुप की अलग-अलग कंपनियों को लोन दिया था। ईडी पहले ही अनिल अंबानी को बुला चुकी है। अब वह यह जानना चाहती है कि जब ग्रुप की कंपनियों ने लोन चुकाना बंद कर दिया, तो बैंकों ने क्या कार्रवाई की।
कई अधिकारियों को भेजा समनईडी ने रिलायंस ग्रुप के कई बड़े अधिकारियों को समन भेजा है। यह समन मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच के सिलसिले में भेजा गया है। ईडी ने अमिताभ झुंझुनवाला और सतीश सेठ जैसे कई सीनियर अधिकारियों को बुलाया है। खबर है कि ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत कम से कम छह समन जारी किए हैं। इन सभी अधिकारियों के घरों पर पहले भी ईडी ने छापेमारी की थी। ईडी को शक है कि इन लोगों ने बैंकों से धोखाधड़ी करने में अहम भूमिका निभाई है। आरोप है कि इन्होंने मिलकर बैंकों के एक समूह को धोखा दिया है।
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