लखनऊ: उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार में कैबिनेट मंत्री और एनडीए सहयोगी दल सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (SBSP) के अध्यक्ष ओम प्रकाश राजभर का बड़ा दावा सामने आया है। बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर उन्होंने एक बड़ा राजनीतिक बयान दिया है। उन्होंने कहा कि इस बार बिहार में राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता तेजस्वी यादव की सरकार बनने जा रही है। सुभासपा अध्यक्ष ने इसका कारण प्रदेश में भारी मतदान प्रतिशत को बताया है।
ओम प्रकाश राजभर ने दावा किया कि बिहार में जब भी ज्यादा मतदान (60 प्रतिशत से ऊपर) हुआ है, तब लालू यादव या राजद गठबंधन की सरकार बनी है। उन्होंने कहा कि मैंने गूगल पर देखा कि जब भी बिहार में ज्यादा वोटिंग होती है, तब राजद की सरकार बनती है। इस बार भी 60 प्रतिशत से ज्यादा मतदान हुआ है, इसलिए तेजस्वी यादव की सरकार तय है।
राजभर बोले, जनता चुप, नेता ही बोल रहेओम प्रकाश राजभर ने बिहार की मौजूदा सियासी स्थिति को लेकर कहा कि वहां बहुत घालमेल है। ओवैसी (AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी) भी राजद के खिलाफ लड़ रहे हैं। पीके (प्रशांत किशोर) सभी दलों की आलोचना कर रहे हैं। जनता का मन-मिजाज कोई नहीं समझ पा रहा। जनता चुप है और नेता सिर्फ बोल रहे हैं।
ओपी राजभर ने इशारों-इशारों में कहा कि बिहार की जनता ने इस बार चुप रहकर अपना फैसला सुनाया है और यह चुप्पी सत्ता परिवर्तन का संकेत देती है। सुभासपा अध्यक्ष के बयान को लेकर चर्चा तेज हो गई है।
बिहार में दो चरणों में मतदानबिहार विधानसभा चुनाव दो चरणों में कराए जा रहे हैं। पहले चरण का मतदान पहले ही पूरा हो चुका है, जिसमें करीब 65 प्रतिशत वोटिंग दर्ज की गई। दूसरे चरण का मतदान मंगलवार 11 नवंबर को होना है। बिहार चुनाव में अब तक का सबसे ऊंचा मतदान प्रतिशत है, जिसे कई राजनीतिक विश्लेषक सत्ता विरोधी लहर से जोड़कर देख रहे हैं।
इतिहास के नजरिए से दावाओम प्रकाश राजभर का तर्क इतिहास के आंकड़ों पर आधारित है। बिहार के चुनावी रिकॉर्ड में यह पैटर्न कई बार देखने को मिला है। दरअसल, वर्ष 1990 में 62.04 फीसदी मतदान हुआ था। इस बार लालू प्रसाद यादव पहली बार सत्ता में आए थे। वर्ष 1995 में 61.79 फीसदी वोट प्रतिशत रहा और लालू यादव की सरकार बरकरार रही। वर्ष 2000 में 62.57 फीसदी वोटिंग हुई और राजद की सत्ता में वापसी हुई।
ओम प्रकाश राजभर ने दावा किया कि बिहार में जब भी ज्यादा मतदान (60 प्रतिशत से ऊपर) हुआ है, तब लालू यादव या राजद गठबंधन की सरकार बनी है। उन्होंने कहा कि मैंने गूगल पर देखा कि जब भी बिहार में ज्यादा वोटिंग होती है, तब राजद की सरकार बनती है। इस बार भी 60 प्रतिशत से ज्यादा मतदान हुआ है, इसलिए तेजस्वी यादव की सरकार तय है।
राजभर बोले, जनता चुप, नेता ही बोल रहेओम प्रकाश राजभर ने बिहार की मौजूदा सियासी स्थिति को लेकर कहा कि वहां बहुत घालमेल है। ओवैसी (AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी) भी राजद के खिलाफ लड़ रहे हैं। पीके (प्रशांत किशोर) सभी दलों की आलोचना कर रहे हैं। जनता का मन-मिजाज कोई नहीं समझ पा रहा। जनता चुप है और नेता सिर्फ बोल रहे हैं।
ओपी राजभर ने इशारों-इशारों में कहा कि बिहार की जनता ने इस बार चुप रहकर अपना फैसला सुनाया है और यह चुप्पी सत्ता परिवर्तन का संकेत देती है। सुभासपा अध्यक्ष के बयान को लेकर चर्चा तेज हो गई है।
बिहार में दो चरणों में मतदानबिहार विधानसभा चुनाव दो चरणों में कराए जा रहे हैं। पहले चरण का मतदान पहले ही पूरा हो चुका है, जिसमें करीब 65 प्रतिशत वोटिंग दर्ज की गई। दूसरे चरण का मतदान मंगलवार 11 नवंबर को होना है। बिहार चुनाव में अब तक का सबसे ऊंचा मतदान प्रतिशत है, जिसे कई राजनीतिक विश्लेषक सत्ता विरोधी लहर से जोड़कर देख रहे हैं।
इतिहास के नजरिए से दावाओम प्रकाश राजभर का तर्क इतिहास के आंकड़ों पर आधारित है। बिहार के चुनावी रिकॉर्ड में यह पैटर्न कई बार देखने को मिला है। दरअसल, वर्ष 1990 में 62.04 फीसदी मतदान हुआ था। इस बार लालू प्रसाद यादव पहली बार सत्ता में आए थे। वर्ष 1995 में 61.79 फीसदी वोट प्रतिशत रहा और लालू यादव की सरकार बरकरार रही। वर्ष 2000 में 62.57 फीसदी वोटिंग हुई और राजद की सत्ता में वापसी हुई।
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